विजय दिवस पर याद किए गए भारत माता के वीर सपूत, 13 दिन चले इस युद्ध में 93000 पाकिस्तानी सैनिकों ने भारतीय सेना के समक्ष किया था समर्पण
Summary
हमारे देश भारत में कई अद्भुत और वीर सैनिकों ने जन्म लिया है। जिनके विजय की गाथाएं आने वाली पीढ़ियों को हमेशा सुनाई जाती रहेंगी। 16 दिसंबर को भारत में पाकिस्तान पर हुई जीत का ‘विजय दिवस’ मनाया जाता है। […]
हमारे देश भारत में कई अद्भुत और वीर सैनिकों ने जन्म लिया है। जिनके विजय की गाथाएं आने वाली पीढ़ियों को हमेशा सुनाई जाती रहेंगी। 16 दिसंबर को भारत में पाकिस्तान पर हुई जीत का ‘विजय दिवस’ मनाया जाता है।
16 दिसंबर को पूरे देश में ‘विजय दिवस’ मनाया जाता है और यह दिन इसलिए मनाया जाता है क्योंकी इस दिन भारत-पाक युद्ध में भारतीय सेना ने पाकिस्तान को करारी शिकस्त दी थी। 16 दिसंबर 1971 को ढाका में 93 हजार पाकिस्तानी सैनिकों ने भारतीय सेना के सामने आत्मसमर्पण किया था। 13 दिन तक चले इस युद्ध में कई भारतीय जवान शहीद हुए थे।
इस दिन को बांग्लादेश में ‘बिजॉय डिबोस’ या बांग्लादेश मुक्ति दिवस भी कहा जाता है।और यह पाकिस्तान से बांग्लादेश की आधिकारिक स्वतंत्रता का प्रतीक है।
विजय दिवस की इसी परंपरा को आगे बढ़ाते हुए जनपद उधम सिंह नगर के रुद्रपुर मुख्यालय स्थित पुलिस लाइन में विजय दिवस पर शहीद जवानों की स्मारक पर पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी गई। दरअसल 1971 की इस लड़ाई में जनपद उधम सिंह नगर के सैनिक भी वीरगति को प्राप्त हुए थे। उनके सम्मान में प्रत्येक वर्ष प्रशासनिक अधिकारियों, राजनेताओं और समाजसेवियों द्वारा उनको पुष्प चक्र समर्पित कर नमन किया जाता है। विजय दिवस के इस कार्यक्रम में क्षेत्रीय विधायक राजकुमार ठुकराल, जिलाधिकारी युगल किशोर पंत और एसएसपी दलीप सिंह कुंवर के साथ सैकड़ों लोग उपस्थित रहे।